मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान की इस सोच को क्रियावृत्ति करते हुए मध्य प्रदेश सरकार ने कम राय स्कूल की एक के महत्व कांची परियोजना शुरू की है, जिसका मुख्य मकसद है सीखने की अनुकरणीय प्रतिक्रियाओं को निर्धारित करना, छात्रों के सीखने के परिणामों को बनाए रखना और शिक्षकों तथा छात्रों के बीच अत्यधिक के जुड़ाव को बनाए रखना है।
12वीं कक्षा में प्रथम श्रेणी लाने वाले लड़के तथा लड़कियों को ई -स्कूटी दिया जाएगा।
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की पहल पर उच्च शिक्षा जारी रखने के लिए प्रोत्साहन स्वरूप पर हायर सेकेंडरी स्कूल में प्रथम स्थान पाने वाली बालिकाओं एवं बालकों को निशुल्क के ई स्कूटी दिया जाएंगे।
3 लाख से अधिक प्रतिभाशाली विद्यार्थियों को फ्री में लैपटॉप दिया जाएगा।
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मध्य प्रदेश के होनहारों और भविष्य निर्माता की शिक्षा और शैक्षणिक विकास के लिए कोई प्रयास अधूरा नहीं रहने दिया। इसी सोच के मध्य नजर छात्रों के लिए कई महत्वपूर्ण योजनाओं को संचालित किया जा रहा है। इन्हीं योजनाओं में से महत्वपूर्ण योजना है प्रतिभाशाली छात्र प्रोत्साहन योजना, जिसके तहत प्रदेश के प्रतिभाशाली 342328 विद्यार्थियों को लैपटॉप का वितरण किया जा चुका है।
इस योजना के शुरुआत मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के द्वारा वर्ष से 2009 और 2010 में की गई थी। तब निर्धारित मापदंड में पचासी प्रतिशत या उससे अधिक अंक पाने वाले कक्षा बारहवीं के छात्रों को योजना के तहत लाभ दिया जाता था। बाद में लाख पाने वाले छात्रों का दायरा बढ़ाते हुए पचासी की जगह 75 फ़ीसदी अंक पाने वालों को भी इसमें शामिल किया गया। 475 पात्र विद्यार्थियों से शुरू हुई योजना के तहत इस वर्ष से 78641 विद्यार्थियों को 196 करोड़ से ज्यादा की राशि वितरित की गई। इस योजना के तहत 2010 में 473 वर्ष से 2011 में 2310 वर्ष से 2012 में 2086 वर्ष से 2013 में 4815 वर्ष से 2014 में 7782 वर्ष से 2015 में 1000081 वर्ष 2016 मे 7782 वर्ष से 2015 में 1081 वर्ष से 2016 में 17896 वर्ष से 2017 में निजी और सरकारी विद्यालयों के 18778 छात्रों को ₹25000 लैपटॉप खरीदने के लिए दिए गए। इनमें अनुसूचित जाति के 5873 छात्र अनुसूचित जनजाति के 2373 छात्र पिछला वर्ग के 5617 छात्र सामान्य वर्ग के 4514 छात्रों को सम्मानित किया गया। वर्ष 2018 में 67615 वर्ष 2020 में 40000551 वर्ष से 2022 में 91498 विद्यार्थियों को लैपटॉप दिए गए।
एमपी बोर्ड के साथ सीबीएसई बोर्ड के विद्यार्थियों को भी मिलेगा लाभ। निशुल्क लैपटॉप प्रदान किया जाएगा।
शुरुआत में इस योजना का लाभ है एमपी बोर्ड से पढ़ाई कर रहे हैं मध्य प्रदेश के छात्रों को ही मिलता था। अब योजना को वृहद रूप देते हुए मुख्यमंत्री ने सीबीएसई छात्रों को भी इस योजना का फायदा उठाने का अवसर दिया है। देश में ही नहीं वरन् पूरे विश्व में डिजिटाइजेशन तेजी से बढ़ रहा है जिसके साथ चलना आज के युवाओं की जरूरत बन चुकी है। देश के सुनहरे भविष्य के लिए छात्र-छात्राओं को आगे बढ़ाने में लैपटॉप एक अहम भूमिका निभाता है।
मध्य प्रदेश फ्री साइकिल योजना।
मध्य प्रदेश से में निशुल्क साइकिल प्रधान योजना से छात्राओं को सबसे ज्यादा फायदा हुआ है। कोई आसानी से स्कूल जा रही हैं। योजना के स्वरूप में आने के बाद से पांचवी के बाद या आठवीं के बाद लड़कियों के ड्रॉप आउट में कमी आई है।
निशुल्क साइकिल योजना से औसतन 5 लाख छात्र छात्राएं लाभान्वित हो रहे हैं। वर्ष 2016 और 2017 में साइकिल की कीमत 3192 रुपए तय की गई थी और 591000 बच्चों को लाभ दिया गया था। व से 2017 और 2018 में साइकिल की कीमत 3295 ते की गई थी और 6 लाख 7000 बच्चों को लाभ दिया गया था। वर्ष 2019 और 2020 में साइकिल की कीमत 3376 ते की गई थी और 592000 बच्चों को लाभ दिया गया था। वर्ष 2022 और 2023 में साइकिल की कीमत 3900 आता है की गई और 5 लाख 50 हजार बच्चों को इसका लाभ मिला। वर्ष 2023 और 2024 में साइकिल की कीमत ₹45 आता है की गई है और अनुमान है कि 450000 से ज्यादा बच्चे अपने पसंद की साइकिल खरीद कर सुगमता से स्कूल आना जाना कर सकेंगे।
कक्षा 1 से 12वीं के बच्चों को निशुल्क के पाठ्य पुस्तक प्रदान की जा रही है।
प्राथमिक एवं माध्यमिक स्तर के विद्यार्थियों को निशुल्क के पाठ्य पुस्तक उपलब्ध कराने के साथ-साथ मध्य प्रदेश के कक्षा 9वी से 12वीं तक के सभी विद्यार्थियों को निशुल्क के पाठ्य पुस्तक उपलब्ध कराया जाता है। निशुल्क के पाठ्य पुस्तक वितरण योजना मध्य प्रदेश सरकार की एक के महत्वपूर्ण एवं लोक कल्याणकारी योजना है। इस योजना में प्रदेश के सभी शासकीय विद्यालयों के कक्षा 9वी से 12वीं तक के सभी विद्यार्थियों को लाभ दिया जा रहा है। इसमें सामान्य एवं गरीबी रेखा के ऊपर के विद्यार्थियों को भी लाभ मिल रहा है। इस योजना के लिए वित्तीय वर्ष 2022 और 2023 में 112 करोड रुपए का प्रावधान किया गया था।
सीएम राइज स्कूल की स्थापना की गई है जिसमें पढ़ने वाले विद्यार्थी को बहुत लाभ है मिलता है।
समग्र शिक्षा, सीएम राइज स्कूल हर बच्चे के समग्र विकास पर ध्यान केंद्रित करेगा जिसका अर्थ है बच्चों में बौद्धिक मानसिक और शारीरिक के क्षमताओं का विकास करना ताकि वह जीवन के विभिन्न मार्गों और चुनौतियों का सामना कर सके और उनकी पहचान कर सके। समग्र विकास का अर्थ है यह भी है कि छात्रों को शिक्षा के क्षेत्र से लेकर कल लेखन और रंगमंच तक सभी क्षेत्रों में अपनी प्रतिभा को प्रदर्शित और विकसित करने का अवसर मिले।
छात्र केंद्रित शिक्षण,। सीएम राइज स्कूलों में छात्रों की जरूरत क्षमताओं रुचियां और सीखने की सहेलियों पर ध्यान केंद्रित करते हुए एक सुरक्षित आनंद में समावेशी स्थान पर शिक्षक होगा। यह एक ऐसा दृश्य कौन है जिसमें प्रत्येक छात्र की विशेषता को पहचाना और शिक्षक का केंद्र शिक्षक से छात्र की ओर हस्तांतरित होगा।
21वीं सदी और सामाजिक के भावनात्मक कौशल का एकीकरण।
आज की तेजी से बदलती दुनिया को साक्षरता संख्यात्मकता और विज्ञान जैसी शैक्षणिक दक्षताओं में निहित व्यापक के कौशल की आवश्यकता है लेकिन इसके लिए ऐसे कौशल की भी आवश्यकता होती है जो आदि के परस्पर जुड़े हो जैसे समूह कार्य आलोचनात्मक सोच समस्या समाधान संचार रचनात्मक विविधता और अपनी भावनाओं को प्रबंध करने के लिए सीखना। सीएम राइज स्कूलों में कौशल की यह परस्पर क्रिया केंद्र में रहेगी।
शैक्षणिक उत्कृष्ट, सीएम राइज ए स्कूल शैक्षणिक उत्कृष्ट का एक निश्चित मानक को बनाए रखेगा और छात्रों को विभिन्न राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय परीक्षाओं और क्षेत्र में सफलता स्थापित करने के लिए मजबूत विश्लेषणात्मक कौशल से लैस करेगा।
छात्र परिषद,। सीएम राइज स्कूलों में एक स्कूल काउंसलिंग के साथ छात्रों के नेतृत्व वाली एक नेतृत्व व्यवस्था होगी जिसमें स्कूल हेड ब्वॉय स्कूल हेड गर्ल हाउस कैप्टन और क्लास कैप्टन तथा विभिन्न अन्य समितियां का नेतृत्व करने वाले छात्र शामिल होंगे। जो स्कूल लीडरशिप टीम के साथ काम करेंगे। छात्रों द्वारा एक छात्र परिषद का चुनाव किया जाएगा। चयनित विद्यार्थियों की क्लास स्कूल एवं उसे बाहर कुछ जिम्मेदारियां भी तय की जाएगी।
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